Surat Taa-Haa (Taa-Haa) - طه
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20:73 إِنَّآ ءَامَنَّا بِرَبِّنَا لِيَغْفِرَ لَنَا خَطَٰيَٰنَا وَمَآ أَكْرَهْتَنَا عَلَيْهِ مِنَ ٱلسِّحْرِ وَٱللَّهُ خَيْرٌ وَأَبْقَىٰٓ ﴿٧٣﴾ (और कहा) हम तो अपने परवरदिगार पर इसलिए ईमान लाए हैं ताकि हमारे वास्ते सारे गुनाह माफ़ कर दे और (ख़ास कर) जिस पर तूने हमें मजबूर किया था और खुदा ही सबसे बेहतर है | ||