Surat Ash-Shu'araa (The Poets) - الشعراء
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26:223 يُلْقُونَ ٱلسَّمْعَ وَأَكْثَرُهُمْ كَٰذِبُونَ ﴿٢٢٣﴾ जो (फ़रिश्तों की बातों पर कान लगाए रहते हैं) कि कुछ सुन पाएँ | ||
26:223 يُلْقُونَ ٱلسَّمْعَ وَأَكْثَرُهُمْ كَٰذِبُونَ ﴿٢٢٣﴾ जो (फ़रिश्तों की बातों पर कान लगाए रहते हैं) कि कुछ सुन पाएँ | ||